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Kundalini Reiki

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रसाहार प्रयोग

```रस-प्रयोग किस रोग में कौन सा रस लेंगे? भूख लगाने के हेतुः प्रातःकाल खाली पेट नींबू का पानी पियें। उसमें 'संतकृपा चूर्ण' डालें। खाने से पहले अदरक का कचूमर सैंधव नमक के साथ लें। रक्तशुद्धिः नींबू, गाजर, गोभी, चुकन्दर, पालक, सेव, तुलसी, नीम और बेल के पत्तों का रस। दमाः लहसुन, अदरक, तुलसी, चुकन्दर, गोभी, गाजर, मीठी द्राक्ष का रस, भाजी का सूप अथवा मूँग का सूप और बकरी का शुद्ध दूध लाभदायक है। घी, तेल, मक्खन वर्जित है। उच्च रक्तचापःगाजर, अंगूर, मोसम्मी और ज्वारों का रस। मानसिक तथा शारीरिक आराम आवश्यक है। निम्न रक्तचापः मीठे फलों का रस लें, किन्तु खट्टे फलों का उपयोग न करें। अंगूर और मोसम्मी का रस अथवा दूध भी लाभदायक है। पीलियाः अंगूर, सेव, रसभरी, मोसम्मी। अंगूर की अनुपलब्धि पर लाल मुनक्के तथा किसमिस का पानी। गन्ने को चूसकर उसका रस पियें। केले में 1.5 ग्राम चूना लगाकर कुछ समय रखकर फिर खायें। मुहाँसों के दागः गाजर, तरबूज, प्याज, तुलसी और पालक का रस। संधिवातः लहसुन, अदरक, गाजर, पालक, ककड़ी, गोभी, हरा धनिया, नारियल का पानी तथा सेव और गेहूँ के ज्वारे। एसीडिटीः गाजर, पालक, ककड़ी, तुलसी क

रेकी ऊर्जा आकर्षित करें।

*रेकी ऊर्जा आकर्षण* रेकी सर्वव्यापी ब्रह्मांडीय प्राणऊर्जा है।यह सदा आपको सुलभ है।आप विनम्रतापूर्वक इसके लिए ग्रहणशील हो और आनंदित जीवन जियें। रेकी ऊर्जा आकर्षण के लिए जो भी शारीरिक मानसिक भावनात्मक बंधन व बाधाएं हैं।उनको छोड़ दे, बह जाने दें और हमेशा के लिए नष्ट कर दें और रेकी ऊर्जा से प्रार्थना करें उसके लिए ग्रहणशील बने और रेकी ऊर्जा को आकर्षित करें चारों ओर से, सामने से पीछे से ऊपर से नीचे से बाएं से दाएं से पूरे ब्रह्मांड से अनंत ब्रह्मांड से रेकी ऊर्जा आकर्षित कर रहे हैं आप रेकी ऊर्जा के शुद्धतम रूप के प्रति ग्रहणशील हैं।ऐसा ही है ऐसा ही है ऐसा ही है अभी ऊर्जा आपके अंदर आ रही हैं और आप से बाहर भी प्रवहित हो रही है।यह बाहरजाती ऊर्जा  उनके पास भेजें जो आपके जीवन में सहयोगी हैं और उन्हें भी जो भविष्य में काम आने वाले हैं जो आपकेसहायक होंगे।आपके जीवन की हर मोड़ पर जो भी लोग आपके साथ रहे हैं याआने वाले हैं।उन सबको धन्यवाद दीजिए और यह ऊर्जा उन तक पहुंचे जैसे आप आकर्षित करते हो वैसे ही आप सरलता से प्रवाहित भी कर सकते हो।यह सबके लिए आसान हैं,यह वर्तमान में संभव है। समर्पण इसकी कुंजी ह

Effects of Ignorance

Effects of Ignorance Due to ignorance, self appears as the world; on realizing self it disappears. Due to oversight a rope appears as a snake and on correcting it, snake does not appear any longer. ब्रह्म अज्ञानवश ही विश्व के रूप में दिखाई देता है, अज्ञान दूर होने पर यह विश्व विलोपित होता है। रस्सी अज्ञानवश सर्प जैसी दिखाई देती है, सर्प का अज्ञान दूर हो जाने पर ही ज्ञान रूपी रस्सी दिखाई  देती है। ॐ आनंदाय नमः।

Energy Being You

ENERGY FOLLOWS THE ATTENTION The Quantum Science has proved that- ~Energy Flows where Attention Goes ~ Everything in Universe is Energy. ~ When you say, “ I don’t want War.” you are giving your attention to war and where you give your attention, your Energy will flow there. ~ Law of Attraction will match your Energy vibrations with that and bring it in your Three Dimension reality. So instead of saying, “I don’t want War.” you should say  “I choose and enjoy Peace.”    Now your attention is on Peace, so you are giving your Energy to Peace and Law of Attraction will match your Energy with Peace and your life will be Peaceful. ~ This Universe works on Vibrations. So similarly change your statements - ~ Instead of saying, I don’t want to fail, say  I choose to Win! ~ Instead of saying, I don’t want to be sick, say  I choose to be healthy. ~ Instead of saying, I don’t want to have a struggling job, say I choose to have a happy and exciting job. ~ Instead of saying, I don’t want

Parents and child

An appeal/request to All parents of school going children's 1. Switch off TV by 8:00pm, there is nothing much important in TV after 8:00. (than your child) 2. Spare 30-45 minutes to check your child's school dairy and make him complete his homework 3. Check Daily their performance in subjects and take care of the subject which they are not doing well. 4. Their basic education is pillar for their lives,so please tell them the stories of Sanatan Dharma. 5. Build a habit in them to wake up early morning at least by 5:30. train them to practice meditation 6.If you attend any parties or social functions and if you enjoy it for late nights with your children. Then let your child relax on a next day (take some excuse school) or if you want want them to go school on next day then come to home by at least 10:00pm. 7. Build a habit in your child to plant trees and nurturing them 8. Tell your children stories like panchatantra, akbar birbal, tenali Rama etc. at bed time. 9.on eve

प्रसन्न वरिष्ठ नागरिक

👨‍🏫👩‍🏫 सभी *वरिष्ठ नागरिक* (55 से ऊपर की उम्र के) कृपया अवश्य पढ़ें, हो सकता है आपके लिए फायदेमंद हो ..            *आप जानते हैं कि मन चाहे कितना ही जोशीला हो पर साठ की उम्र पार होने पर यदि आप अपनेआप को फुर्तीला और ताकतवर समझते हों तो यह गलत है।  वास्तव में ढलती उम्र के साथ शरीर उतना ताकतवर और फुर्तीला नहीं रह जाता।* आपका शरीर ढलान पर होता है, जिससे ‘हड्डियां व जोड़ कमजोर होते हैं, पर *कभी-कभी मन भ्रम बनाए रखता है कि ‘ये काम तो मैं चुटकी में कर लूँगा’।*  पर बहुत जल्दी सच्चाई सामने आ जाती है मगर एक नुकसान के साथ। सीनियर सिटिजन होने पर जिन बातों का ध्यान रखा जाना चाहिए, ऐसी कुछ टिप्स दे रहा हूं। -- *धोखा तभी होता है जब मन सोचता है कि ‘कर लूंगा’ और शरीर करने से ‘चूक’ जाता है।  परिणाम एक एक्सीडेंट और शारीरिक क्षति!* ये क्षति फ्रैक्चर से लेकर ‘हेड इंज्यूरी’ तक हो सकती है।  यानी कभी-कभी जानलेवा भी हो जाती है। -- *इसलिए जिन्हें भी हमेशा हड़बड़ी में काम करने की आदत हो, बेहतर होगा कि वे अपनी आदतें बदल डालें।* *भ्रम न पालें, सावधानी बरतें क्योंकि अब आप पहले की तरह फुर्तीले नहीं रहे।*