Posts

Showing posts from 2021

सत्य प्रार्थना करें और आनंदित रहें।

Image

ईश्वर की कविता

Image
सँसार ईश्वर की कविता है। सँसार का हर बिंदु  उसे ही दर्शाता है। समझ हो अगर आपको जानो कि, वह सदा आपके साथ ही होता है। मन जब शांत हो,तो ईश्वर ही वहाँ होता है। आशा,निराशा, इच्छा,अनिच्छा, कर्म,अकर्म, सुंदर, असुंदर, अच्छा, बुरा, व्यक्ति के मन का रचित मायाजाल है। इस मायाजाल के मूल में ही वह ब्रह्म है, जिसे मन ढूंढ रहा है। विचारों, भावनाओं वेदना से परे कौन है,क्या है? सत्यमहेश-07415865321

What’s your vibrational frequency?

Image
What’s your vibrational frequency? By  Lara Skadsen October 29, 2015 what is your vibrational frequency Back in the 70’s, the common pick up line was… “What’s your sign?” Well today in this new age of time… we should be asking, ”What’s your frequency?” Could you answer that question? Do you know what level of vibration you are radiating at? Does this make any sense to you? If it does… awesome! Keep reading. If it doesn’t, then definitely keep reading and pay close attention to what I am about to share with you! One, who is able to vibrate at a high frequency, will be in a state of flow and have lots of joy, love and peace in their life. You are in control of your life and you know it. You feel joy for no particular reason. You find you are very positive and optimistic and you ignore that negative voice in your head, telling you that you can’t do something or you’re just not good enough or even better, that voice isn’t even there. If that is you, you are clearly in a higher

Invitation to Truth Meditation from Monday to Friday

Image

ANCIENT INDIAN HEALTH TIPS for good life

ANCIENT INDIAN HEALTH TIPS 1. अजीर्णे भोजनं विषम् । If the previous meal  is not digested..taking the next one will be equivalent to taking poison. Hunger is one signal that the previous food is digested.  2. अर्धरोगहारी निद्रा । Proper sleep cures half of the diseases.. 3. मूढ़गढ़ाल्ली गढ़व्याली। Of all the pulses (lentils), green grams are the best. It boosts immunity. Other pulses all have one or the other side effects.  4. बागनास्थी संधानकारो रसोनहा। Garlic even joins broken bones..  5. अति सर्वत्र वर्जयेत। Anything consumed in excess, just because it tastes good, is not good for health. Be moderate.  6. नास्थिमूलम अनौषधाम। There is no vegetable that has no medicinal benefit to the body..  7. नां वैध्यः प्रभुरायुशाह । No doctor is lord of our longevity. Doctors have limitations.  8. चिंता व्याधि प्रकाश्य। Worry aggravates ill health..  9. व्यायामच्छ सनैही सनैही। Do any exercise slowly. Speedy exercise is not good.  10. अजावथ चर्वनाम कुर्यात। Chew your Food like a goat..Never swall

We are DIVINE-Meditation for Being SELF

Image

सनातन धर्म की विशेष बातें

*हिन्दू धर्म की 10 महत्वपूर्ण बातें*           *१. 10 ध्वनियां*  1.घंटी, 2.शंख, 3.बांसुरी, 4.वीणा, 5. मंजीरा, 6.करतल, 7.बीन (पुंगी), 8.ढोल, 9.नगाड़ा और 10.मृदंग *२. 10 कर्तव्य*  1. संध्यावंदन, 2. व्रत, 3. तीर्थ, 4. उत्सव, 5. दान, 6. सेवा 7. संस्कार, 8. यज्ञ, 9. वेदपाठ, 10. धर्म प्रचार।  *३. 10 दिशाएं* दिशाएं 10 होती हैं जिनके नाम और क्रम इस प्रकार हैं- उर्ध्व, ईशान, पूर्व, आग्नेय, दक्षिण, नैऋत्य, पश्चिम, वायव्य, उत्तर और अधो।  *४. 10 दिग्पाल* 10 दिशाओं के 10 दिग्पाल अर्थात द्वारपाल होते हैं या देवता होते हैं। उर्ध्व के ब्रह्मा, ईशान के शिव व ईश, पूर्व के इंद्र, आग्नेय के अग्नि या वह्रि, दक्षिण के यम, नैऋत्य के नऋति, पश्चिम के वरुण, वायव्य के वायु और मारुत, उत्तर के कुबेर और अधो के अनंत। *५. 10 देवीय आत्मा*  1.कामधेनु गाय, 2.गरुढ़, 3.संपाति-जटायु, 4.उच्चै:श्रवा अश्व, 5.ऐरावत हाथी, 6.शेषनाग-वासुकि, 7.रीझ मानव, 8.वानर मानव, 9.येति, 10.मकर। *६. 10 देवीय वस्तुएं* 1.कल्पवृक्ष, 2.अक्षयपात्र, 3.कर वच कुंडल, 4.दिव्य धनुष और तरकश, 5.पारस मणि, 6.अश्वत्थामा की मणि, 7.स्यंमतक मणि, 8.पांचजन्य शंख, 9

वृद्धावस्था में सावधानी

*कृपया 60 वर्ष से ज्यादा के व्यक्ति इस लेख को सहेज लें* ⚓⚓⚓⚓⚓⚓⚓⚓⚓⚓ संयुक्त राज्य अमेरिका में एक अध्ययन में कहा गया है कि 51% से अधिक बुजुर्ग सीढ़ियां चढ़ने के दौरान गिर जाते हैं। अमेरिका में हर साल सीढ़ियां चढ़ने से 20,000 मौतें होती हैं। विशेषज्ञ सलाह देते हैं कि 65 वर्ष की आयु के बाद निम्नलिखित 10 क्रियाएं न करें:   1. सीढ़ियों/सीढ़ी पर चढ़ना   2. बहुत तेजी से मुड़ें  मुड़ना/घूमना    3. अपने पैरों पर झुकना    4. खड़े होकर पैंट पहनना   5. सिट अप्स   6. बाएँ और दाएँ मुड़ना  l   7. पीछे हटना   8. भारी सामान उठाने के लिए झुकना    9. अचानक बिस्तर से खड़े हो जाना  10. बहुत  तनाव में रहना  65 साल की उम्र के बाद कोशिश करें कि उपरोक्त 10 काम न करें। वृद्धावस्था की चार आम समस्याएं।  1. गले में भोजन फंसने से दम घुटन ।  2. गलत तकिया।  3. पैर में ऐंठन।  4. झुनझुनी पैर।  इस प्रकार मदद कैसे करें:  1. भोजन का दम घोंटना:      आपको केवल "हाथ ऊपर उठाने" की आवश्यकता है। हाथों को सिर के ऊपर उठाने से आपके गले में फंसा खाना अपने आप नीचे चला जाएगा।  2. गलत तकिए:       कभी-कभी जब आप उठते हैं तो आपक

Blissfulness Meditation by Satyamahesh

Image

Power of Acceptance (स्वीकृति की शक्ति)

Image

Overcome stress

How to stay Happy? Do you ever wake up in the morning and wonder how you are going to get through the day?  Do you ever feel like no matter what you do, no matter how hard you try, it’s just not good enough?  Do you spend a lot of time and energy trying to get it right and trying to earn the praise and respect of others; all the while having sense that underneath it all, you just don’t measure up?  In the words of Henry Thoreau, “The mass of men lead lives of quiet desperation.”  All too often, that proves to be true. You don’t have to live your life in quiet desperation.  You don’t have to walk around with a sense of unworthiness.  You can have confidence and be as happy as you naturally are with these simple tools. Here are my top 4 tips on how to overcome feeling unworthy. *Change your focus* If you wish to overcome feelings of unworthiness, you have to stop focusing on everything you have decided is wrong about you.  You have to change your focus and look from another perspective. 

प्रतिदिन स्मरण योग्य शुभ मंत्र संग्रह

Image
🌅🔔🌿 प्रतिदिन स्मरण योग्य शुभ फल दायक मंत्र संग्रह   *🔹 प्रात: उठ कर अपने हाथो का दर्शन करते हुए बोलें।🔹* कराग्रे वसते लक्ष्मी करमध्ये सरस्वती। करमूले तू गोविन्दः प्रभाते करदर्शनम्॥          *🔸पृथ्वी क्षमा प्रार्थना🔸* समुद्र वसने देवी पर्वत स्तन मंडिते। विष्णु पत्नी नमस्तुभ्यं पाद स्पर्शं क्षमश्वमेव॥ *🔺त्रिदेवों के साथ नवग्रह स्मरण🔺* ब्रह्मा मुरारिस्त्रिपुरान्तकारी भानु: शशी भूमिसुतो बुधश्च। गुरुश्च शुक्र: शनिराहुकेतव: कुर्वन्तु सर्वे मम सुप्रभातम्॥               *♥ स्नान मन्त्र ♥* गंगे च यमुने चैव गोदावरी सरस्वती। नर्मदे सिन्धु कावेरी जले अस्मिन् सन्निधिम् कुरु॥            *🌞 सूर्यनमस्कार🌞* ॐ सूर्य आत्मा जगतस्तस्युषश्च आदित्यस्य नमस्कारं ये कुर्वन्ति दिने दिने। दीर्घमायुर्बलं वीर्यं व्याधि शोक विनाशनम्  सूर्य पादोदकं तीर्थ जठरे धारयाम्यहम्॥ ॐ मित्राय नम: ॐ रवये नम: ॐ सूर्याय नम: ॐ भानवे नम: ॐ खगाय नम: ॐ पूष्णे नम: ॐ हिरण्यगर्भाय नम: ॐ मरीचये नम: ॐ आदित्याय नम: ॐ सवित्रे नम: ॐ अर्काय नम: ॐ भास्कराय नम: ॐ श्री सवितृ सूर्यनारायणाय नम: आदिदेव नमस्तुभ्यं प्रसीदमम् भास

कपाल भाँति प्राणायाम

🎯 *_कपालभाती यह केवल एक प्राणायाम ही नही, बल्कि एक शुद्धी क्रिया भी है, डॉ घोसालकर MBBS ने कपालभाती के विषय में अच्छी जानकारी दी है !_*                            +-+-+-+-+-+ *कपालभाती को बीमारी दूर करनेवाले प्राणायाम के रूप में देखा जाता है। मैने ऐसे पेशंट्स को देखा है जो बिना बैसाखी के चल नही पाते थे लेकिन नियमित कपालभाती करने के बाद उनकी बैसाखी छूट गई और वे ना सिर्फ चलने, बल्कि दौड़ने भी लगे.....!* *1* -  _कपालभाती करने वाला साधक आत्मनिर्भर और स्वयंपूर्ण हो जाता है, कपालभाती से हार्ट के ब्लॉकेजेस् पहले ही दिन से खुलने लगते हैं और 15 दिन में बिना किसी दवाई के वे पूरी तरह खुल जाते है !_ *2* -  _कपालभाती करने वालों के हृदय की कार्यक्षमता बढ़ती है, जबकि हृदय की कार्यक्षमता बढ़ाने वाली कोई भी दवा उपलब्ध नही है !_ *3* -  _कपालभाती करने वालों का हृदय कभी भी अचानक काम करना बंद नही करता, जबकि आजकल बड़ी संख्या में लोग अचानक हृदय बंद होने से मर जाते हैं !_       *4* -  _कपालभाती करने से  शरीरांतर्गत और शरीर के ऊपर की किसी भी तरह की गाँठ गल जाती है, क्योंकि कपालभाती से शरीर में जबर्दस्त उर्जा निर्

समर्पण

Image
-  भीतर  के  "मैं"  का  मिटना  आवश्यक  है -  सुकरात  समुन्द्र  तट  पर  टहल  रहे थे | उनकी  नजर तट  पर  खड़े   रोते  हुए एक बच्चे  पर  पड़ी | वे उसके  पास  गए  और  प्यार  से उसके  सिर पर  हाथ  फेरकर  पूछा , -''तुम  क्यों  रो  रहे  हो? लड़के  ने  कहा-  'ये जो मेरे  हाथ में प्याला है  इसमें मैं  इस  समुन्द्र  को  भरना  चाहता  हूँ पर यह मेरे  प्याले  में  समाता  ही नहीं ' | बच्चे  की  बात  सुन  सुकरात  विस्माद  में  चले गये  और  स्वयं  रोने  लगे | बच्चा  कहने  लगा-  आप  भी  मेरी  तरह  रोने  लगे पर  आपका  प्याला  कहाँ  है? सुकरात  ने  कहा  - बालक, तुम  छोटे  से  प्याले  में  समुन्द्र  भरना  चाहते  हो,और  मैं अपनी  छोटी  सी बुद्धि में सारे संसार की ज्ञान  भरना  चाहता  हूँ |  आज  तुमने  सिखा  दिया कि  समुन्द्र  प्याले  में  नहीं समा  सकता है ।       बच्चे  ने  प्याला समुद्र में  फेंक दिया  और  बोला- " सागर  अगर  तू  मेरे  प्याले  में नहीं  समा  सकता  तो  मेरा  प्याला  तो  तुम्हारे अन्दर समा  सकता  है " | इतना  सुनना  था  कि  सुकरात  बच्चे  के  प

Attitude of Gratitude

Image
Attitude of Gratitude Everything depends on your point of view.There are so many things to be grateful for from life. If we start to be thankful for everything we have, instead of what we do not have, we'll start to appreciate our life on this earth more.  What are you grateful for? Next time you complain about the price of petrol/gas, stop and give thanks that you have a car. Next time you complain about a messy house, stop and be thankful you have a family to make the mess.           Next time you complain about your boss, stop and give thanks that you have a job. Live and enjoy each moment with an attitude of gratitude and you will be on your way to a happiest life.

True Healing

Image
True Healing, Satya Mahesh Seth, We all are light beings in the now, and we radiate light at revery moment of life. However, thoughts feelings, beliefs and emotions are simply keeping us away to realise  this truth of life. Just choose to stay in the present & choose to stay aware and be who you are. Do nothing and BE.  True healing is when one realises the self and let go the all desires including the desire of healing and stay in this moment. What if you choose a session with me for true healing? Contact me at 07415865321 Regards.

Happiness

खुश रहने वाले लोगों की 7 आदत Friends, खुश रहना मनुष्य का जन्मजात स्वाभाव होता है. आखिर एक छोटा बच्चा अक्सर खुश क्यों रहता है? क्यों हम कहते हैं कि childhood days life के best days होते हैं? क्योंकि हम पैदाईशी HAPPY होते हैं; पर जैसे -जैसे हम बड़े होते हैं हमारा environment, हमरा समाज हमारे अन्दर impurity घोलना शुरू कर देता है….और धीरे-धीरे impurity का level इतना बढ़ जाता है कि happiness का natural state sadness के natural state में बदलने लगता है. पर ऐसा सबके साथ नहीं होता है दुनिया में ऐसे बहुत से लोग हैं जो अपनी Happy रहने की natural state को बचाए रख पाते हैं और Life-time खुशहाल रहते हैं. तो क्या ऐसे व्यक्ति हमेशा खुश रहते हैं? नहीं, औरों की तरह उनके जीवन में भी दुःख-सुख का आना जाना लगा रहता है, पर आम तौर पर ऐसे व्यक्ति व्यर्थ की चिंता में नहीं पड़ते और अक्सर हँसते -मुस्कुराते और खुश रहते हैं. तो सवाल ये उठता है कि जब ये लोग खुश रह सकते हैं तो बाकी सब क्यों नहीं?आखिर उनकी ऐसी कौन सी आदतें हैं जो उन्हें दुनिया भर की टेंशन के बीच भी खुशहाल बनाये रखती हैं? आज इस लेख के जरिये मैं आपके साथ

तत्वमसि

तत्वमसि हर मनुष्य जाने अनजाने कुछ खोज रहा है।पर जानता नहीं क्या,क्यों और कैसे खोजना है ।और जो खोज रहा है वह खोया ही नहीं है। यह कुछ इसी तरह की बात है कि चश्मा लगाया हुआ है और उसे ही ढूंढ रहे हैं। मनीषी दृष्टा सदियों से बार बार यह सत्य बताते रहे हैं कि तुम्हें कुछ नहीं खोजना है क्योंकि वह खोया ही नहीं है और इसके लिए कुछ नहीं करना है।   पर क्रियाशील मनुष्य को अक्रिया में होने की स्थिति का परिचय नहीं होता और हो भी नहीं सकता।     कारण उस "कुछनहीं" या "सबकुछ" का अनुभव चंचल मन को नहीं होता।क्योंकि मन का अस्तित्व ही विरोधाभासों में है।अच्छा - बुरा,काला-सफेद,सुख-दुख की अनुभूति मन का संसार है। मन द्वारा रचित व अनुभव की गई हर वस्तु, व्यक्ति नश्वर है तो वह अनश्वर को कभी कैसे जान सकता है। वर्तमान में एक पल के लिये जानें कि रूप, रस,गंध,स्पर्श,शब्द किस सत्ता में अनुभव हो रहे हैं।भावना किस सत्ता से उठती  है और कहाँ विलीन होती हैं।तो तुम सहज ही इस मायावी संसार के सत्य को,मूल को जानकर वही हो सकते हो।तुम जान पाओगे अपने जीवन के सत्य को।यानी असीम प्रेम,आनंद,परम मौन को।और तब ही मिटेगा अ

Divine Books links

*Saffron e-Library* यह e - Library है, इसमें कई सौ अमूल्य ग्रंथों के PDF हैं, ताकि यह ज्यादा से ज्यादा लोगों के काम आ सकें, देश - धर्म संबंधी अमूल्य पुस्तकें इन लिंक्स में संग्रहीत हैं, आप विषय देखकर लिंक खोलें तो बहुत सी पुस्तकें मिलेंगी, सभी पुस्तकें आप निःशुल्क download कर सकते हैं, इन लिंक्स की किताबें दो साल में अलग अलग स्त्रोतों से इकट्ठी की गईं हैं, अपनी पसंद की किताबें पढ़ें । Aadi Shankaracharya - आद्य शंकराचार्य :- https://drive.google.com/open?id=0B1giLrdkKjfRallkZ0VIWnRPVjA Sri Aurobindo - श्री अरविंदो :- https://drive.google.com/open?id=0B1giLrdkKjfRSWktaVFPa2tSa2s Swami Dayananda - स्वामी दयानंद :- https://drive.google.com/folder/d/0B1giLrdkKjfRZnUxOEpPSVBHVzQ/edit Swami Vivekanand - स्वामी विवेकानन्द :- https://drive.google.com/open?id=0B1giLrdkKjfRMFAtTi1yUFAzdW8 Swami Shivanand - स्वामी शिवानंद :-  https://drive.google.com/open?id=0B1giLrdkKjfRYXJDclQwYTBfWFk Swami Ramteerth - स्वामी रामतीर्थ :- https://drive.google.com/open?id=0B1giLrdkKjfRNGlYZzhqTEQtcU0 Sitaram Goel

शुद्ध जल कैसे ग्रहण करें?

अपने आंतरिक स्व को प्रदूषित करना बंद करें।       मानव शरीर के लिए आवश्यक सभी आवश्यक पोषक तत्वों में से पानी निस्संदेह सबसे महत्वपूर्ण पोषक तत्वों में से एक है।      यह मानव शरीर के कामकाज और नियमन के लिए अपरिहार्य है क्योंकि यह हमारे शरीर के वजन का लगभग 60-70% होता है, शरीर की हर कोशिका को जीवन प्रदान करता है, हमारे शरीर के तापमान को नियंत्रित करता है और शरीर के पोषक तत्वों और अन्य महत्वपूर्ण पदार्थों का वाहक है।     जबकि हम हमेशा यह सुनिश्चित करते हैं कि हमारे द्वारा बाहर से सेवन किया जा रहा पानी शुद्ध, सुरक्षित और अदूषित हो; हम वास्तव में कभी नहीं सोचते कि हमारे भीतर का पानी कितना अशुद्ध या दूषित है। *क्रोध, घृणा, उदासी, चिंता, भय और ईर्ष्या का हर भाव व हर विचार हमारे भीतर पानी के सभी अणुओं को दूषित कर देता है* और बाद में हमारे सिस्टम में इस दूषित पानी का संचार *हमारे शरीर की सभी कोशिकाओं के विकास पर प्रतिकूल प्रभाव डालता है*। प्रदूषित पानी का यह प्रदूषण और संचलन विभिन्न बीमारियों, बीमारी और अस्वस्थता के प्रमुख कारणों में से एक है जिससे मनुष्य पीड़ित हैं। इसलिए, हर बार जब हम क्रोध, ज

चमत्कारी शरीर

*वैज्ञानिकों ने बताया कितना दिलचस्प है, हमारा शरीर* 🕴🏻 1. *जबरदस्त फेफड़े* 🫁 हमारे फेफड़े हर दिन 20 लाख लीटर हवा को फिल्टर करते हैं. हमें इस बात की भनक भी नहीं लगती. फेफड़ों को अगर खींचा जाए तो यह टेनिस कोर्ट के एक हिस्से को ढंक देंगे. 2. *ऐसी और कोई फैक्ट्री नहीं* 🧰 हमारा शरीर हर सेकंड 2.5 करोड़ नई कोशिकाएं बनाता है. साथ ही, हर दिन 200 अरब से ज्यादा रक्त कोशिकाओं का निर्माण करता है. हर वक्त शरीर में 2500 अरब रक्त कोशिकाएं मौजूद होती हैं. एक बूंद खून में 25 करोड़ कोशिकाएं होती हैं. 3. *लाखों किलोमीटर की यात्रा* 🩸 इंसान का खून हर दिन शरीर में 1,92,000 किलोमीटर का सफर करता है. हमारे शरीर में औसतन 5.6 लीटर खून होता है जो हर 20 सेकेंड में एक बार पूरे शरीर में चक्कर काट लेता है. 4. *धड़कन* 🫀 एक स्वस्थ इंसान का हृदय हर दिन 1,00,000 बार धड़कता है. साल भर में यह 3 करोड़ से ज्यादा बार धड़क चुका होता है. दिल का पम्पिंग प्रेशर इतना तेज होता है कि वह खून को 30 फुट ऊपर उछाल सकता है. 5. *सारे कैमरे और दूरबीनें फेल* 👁️ इंसान की आंख एक करोड़ रंगों में बारीक से बारीक अंतर पहचान सकती है. फिलहाल द

सत्य और भ्रम

,,,,,,,पत्नी का भूत ...एक वहम,,,, 🎈💐🎈💐🎈💐🎈💐 एक आदमी की पत्नी अचानक बहुत बीमार पड़ गयी . मरने से पहले उसने अपने पति से कहा , “ मैं तुम्हे बहुत प्यार करती हूँ …. तुम्हे छोड़ कर नहीं जाना चाहती… मैं नहीं चाहती की मेरे जाने के बाद तुम मुझे भुला दो और किसी दूसरी औरत से शादी करो … वादा करो कि मेरे मरने के बाद तुम किसी और से प्रेम नहीं करोगे …वर्ना मेरी आत्मा तुम्हे चैन से जीने नहीं देगी ” और इतना कह कर वो चल बसी . उसके जाने के कुछ महीनो तक उस आदमी ने किसी दूसरी औरत की तरफ देखा तक नहीं पर एक दिन उसकी मुलाक़ात एक ऐसी लड़की से हुई जिसे वह चाहने लगा . बात बढ़ते -बढ़ते शादी तक आ गयी और उनकी शादी हो गयी . शादी के ठीक बाद आदमी को लगा कि कोई उससे कुछ कह रहा है , मुड़ कर देखा तो वो उसकी पहली पत्नी की आत्मा थी. आत्मा बोली , “ तुमने अपना वादा तोड़ा है , अब मैं हर रोज तुम्हे परेशान करने आउंगी .” और इतना कह कर वो गायब हो गयी . आदमी घबरा गया , उसे रात भर नींद नहीं आई . अगले दिन भी रात को उसे वही आवाज़ सुनाई दी . “मैं तुम्हे चैन से नहीं जीने दूंगी…. मैं जानती हूँ कि आज तुमने अपनी नयी पत्नी से क्या-क्या बातें

कुंडलिनी शक्ति की सत्यसमझ

कुंडलिनी जागरण की सत्य समझ संपूर्ण ब्रह्मांड दिव्य चेतन बुद्धिमान ऊर्जा से युक्त है। हमारे संसार की रचना का हेतु भी यही दिव्य चेतना है। समस्त ब्रम्हांड में इसी ऊर्जा का कंपन (vibration) है। मानव जिस संसार को अपनी पंच इंद्रियों से अनुभव करता है वह भी ऊर्जा का ही कंपन है। अलग-अलग वस्तु, व्यक्ति, अवस्था, भावना व विचार का अलग-अलग कंपन (vibration) frequency  है। हर मनुष्य अपने विचारों एवं भावनाओं के साथ एक निश्चित तरंग (frequency) पर रहता है तथा उस तरंग को वह एक नाम देकर अपनी पहचान बनाता है। इसी तरंग को अहंकार कहा गया है। इसी अहंकार के वश होकर मनुष्य अपने को दीन व हीन मानता है तथा ज्यादा प्रेम, विश्वास, शक्ति प्राप्त करने के लिए तथा भ्रमवश दूसरों से अपने आपको बेहतर साबित करने के लिए अनेकानेक प्रयत्न करता है जबकि वास्तविकता यह है कि वह सदा से ही पूर्ण है, सत्य है, सतचितानंद है। वर्तमान में अपनी शक्तियों को जाग्रत करने के लिए योग में कुंडलिनी जागरण के प्रयोग होने लगे हैं। अधिकांश अनुभवहीन तथाकथित गुरु कुंडली जागरण की दीक्षा दे रहे हैं। और लोग भी अज्ञान व लालच वश इनके जाल में फंस जाते

Divine Codes

*Sharing as received* ALL NEEDED NUMBER CODES FOR ALL COVID CONDITIONS  : Dear all… As there are so many covid cases increasing day by day…. I am giving some very important number codes.... To cure any covid patient… Pls help yourself and heal yourself… Covid : 78311091  -  Cure Covid 61782582  -   Cure from corona virus 9484876  -   Cure coronavirus Only chat in plain digits…. Daily many times…. Fever  : 278765608   -   High fever 365269516  -  Reduce fever Write on body with Blue pen… daily…. Cold and cough : 9224494  -  For cold and running nose 1474609  -   Cough Write on body with Red pen… daily…. Save life  : 69726533 - Save any person from emergency life threat 85012535  -   Recover from ICU 85685118  -  Save life  66209377  -  Life energy Only chat in plain digits…. Daily many times…. Energy and stamina  : 3703413  -  Energy and stamina 35094200  -  Weakness Write on body with Red pen… daily…. Lungs  : 39551960  -  To strengthen weak lungs  9516870  -  Repair lungs 3143044  - 

उर्दू व हिंदी शब्द

*हिन्दी बोलने का प्रयास करें...* ये वो उर्दू के शब्द जो आप प्रतिदिन प्रयोग करते हैं, इन शब्दों को त्याग कर मातृभाषा का प्रयोग करें...       *उर्दू*                *हिंदी* 01 ईमानदार       - निष्ठावान 02 इंतजार         - प्रतीक्षा 03 इत्तेफाक       - संयोग 04 सिर्फ            - केवल, मात्र 05 शहीद           - बलिदान 06 यकीन          - विश्वास, भरोसा 07 इस्तकबाल    - स्वागत 08 इस्तेमाल       - उपयोग, प्रयोग 09 किताब         - पुस्तक 10 मुल्क            - देश 11 कर्ज़             - ऋण 12 तारीफ़          - प्रशंसा 13 तारीख          - दिनांक, तिथि 14 इल्ज़ाम         - आरोप 15 गुनाह            - अपराध 16 शुक्रीया          - धन्यवाद, आभार 17 सलाम           - नमस्कार, प्रणाम 18 मशहूर           - प्रसिद्ध 19 अगर             - यदि 20 ऐतराज़          - आपत्ति 21 सियासत        - राजनीति 22 इंतकाम          - प्रतिशोध 23 इज्ज़त           - मान, प्रतिष्ठा 24 इलाका           - क्षेत्र 25 एहसान          - आभार, उपकार 26 अहसानफरामोश - कृतघ्न 27 मसला            - समस्या 28 इश्तेहार          - विज्ञापन 29

स्वप्न फल

✍️स्वप्न फल विचार 🙏🙏🏻 1- सांप दिखाई देना- धन लाभ 2- नदी देखना- सौभाग्य में वृद्धि 3- नाच-गाना देखना- अशुभ समाचार मिलने के योग 4- नीलगाय देखना- भौतिक सुखों की प्राप्ति 5- नेवला देखना- शत्रुभय से मुक्ति 6- पगड़ी देखना- मान-सम्मान में वृद्धि 7- पूजा होते हुए देखना- किसी योजना का लाभ मिलना 8- फकीर को देखना- अत्यधिक शुभ फल 9- गाय का बछड़ा देखना- कोई अच्छी घटना होना 10- वसंत ऋतु देखना- सौभाग्य में वृद्धि 11- स्वयं की बहन को देखना- परिजनों में प्रेम बढऩा 12- बिल्वपत्र देखना- धन-धान्य में वृद्धि 13- भाई को देखना- नए मित्र बनना 14- भीख मांगना- धन हानि होना 15- शहद देखना- जीवन में अनुकूलता 16- स्वयं की मृत्यु देखना- भयंकर रोग से मुक्ति 17- रुद्राक्ष देखना- शुभ समाचार मिलना 18- पैसा दिखाई- देना धन लाभ 19- स्वर्ग देखना- भौतिक सुखों में वृद्धि 20- पत्नी को देखना- दांपत्य में प्रेम बढ़ना 21- स्वस्तिक दिखाई देना- धन लाभ होना 22- हथकड़ी दिखाई देना- भविष्य में भारी संकट 23- मां सरस्वती के दर्शन- बुद्धि में वृद्धि 24- कबूतर दिखाई देना- रोग से छुटकारा 25- कोयल देखना- उत्तम स्वास्थ्य की प्राप्ति 26- अज

जानिए पुत्री को अपने पिता का गोत्र , क्यों नही प्राप्त होता ?

👉 हज़ारों सदियों पहले पच्छम जब अंधकार में गर्क था तो भारत के ऋषियों ने नाड़ी दोष ढूंढ लिया था और उसे गोत्र के रूप में विभाजित करके संसार को उत्तम ज्ञान दिया था, जिसे आज का आधुनिक चिकित्सा शास्त्र क्रोमोसोम थ्योरी कहता है, आईये बताएं कहां से नकल हुई ये क्रोमोसोम थ्योरी......  जानिए पुत्री को अपने  पिता  का गोत्र ,  क्यों नही   प्राप्त  होता ?    आइये वैज्ञानिक दृष्टिकोण से  हम आप सब जानते हैं कि स्त्री में गुणसूत्र xx और पुरुष में xy गुणसूत्र होते हैं ।  इनकी सन्तति में माना कि पुत्र हुआ (xy गुणसूत्र) अर्थात इस पुत्र में y गुणसूत्र पिता से ही आया यह तो निश्चित ही है क्योंकि माता में तो y गुणसूत्र होता ही नही है ! और यदि पुत्री हुई तो (xx गुणसूत्र) यानी यह गुण सूत्र पुत्री में माता व् पिता दोनों से आते हैं । १. xx गुणसूत्र  〰〰〰〰 xx गुणसूत्र अर्थात पुत्री  , अस्तु xx गुणसूत्र के जोड़े में एक x गुणसूत्र पिता से तथा दूसरा x  गुणसूत्र माता  से आता है ।  तथा इन दोनों गुणसूत्रों का संयोग एक गांठ सी रचना बना लेता है जिसे Crossover कहा जाता है । २. xy गुणसूत्र   〰〰〰〰 xy गुणसूत्र अर्थात पुत्र , या